एचपी इंटरनेशनल स्कूल में मॉक ड्रिल और ब्लैकआउट अभ्यास का आयोजन किया गया। विद्यालय परिसर में जैसे ही सायरन की तेज आवाज गूंजी, छात्र-छात्राएं और शिक्षक सतर्क हो गए। चारों ओर अनुशासन और सजगता का जीवंत दृश्य देखने को मिला। इस संजीदा अभ्यास का उद्देश्य आपदा की स्थिति में बच्चों को तैयार करना और सुरक्षा के प्रति जागरूक बनाना था।
विद्यालय के प्रबंधक निदेशक श्री शिवम पटेल ने इस अवसर पर भारत की सेना को दिल से शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा, “जो राष्ट्र की रक्षा करते हैं, हम उनके प्रति आभार और सम्मान व्यक्त करते हैं। बच्चों को भी उन्हीं के जैसे साहसी और जागरूक नागरिक बनना चाहिए।”
विद्यालय की निदेशिका श्री सेजल पटेल ने कहा, “जीवंत शिक्षा का अपना एक अलग महत्व है। केवल पाठ्यक्रम से परे जाकर जब छात्र व्यवहारिक जीवन को समझते हैं, तब असली शिक्षा का आरंभ होता है।”
प्रधानाचार्य संदीप पांडे ने अभ्यास से पूर्व छात्रों को विस्तार से बताया कि मॉक ड्रिल और ब्लैकआउट क्या होते हैं और आपात स्थिति में किस प्रकार का व्यवहार और निर्णय जरूरी होता है। उन्होंने कहा कि “सिर्फ किताबी ज्ञान नहीं, बल्कि जीवन की रक्षा करने वाला व्यवहारिक ज्ञान ही वास्तव में शिक्षा का उद्देश्य है।” छात्रों ने ध्यानपूर्वक समझा और पूरे अनुशासन के साथ ड्रिल में भाग लिया।
यह आयोजन छात्रों के लिए न केवल रोमांचक रहा, बल्कि उन्हें यह भी सिखा गया कि संकट के समय घबराना नहीं है, बल्कि समझदारी से हालातों का सामना करना है। स्कूल प्रबंधन ने बताया कि भविष्य में भी इस तरह के कार्यक्रम आयोजित होते रहेंगे, ताकि छात्रों को हर परिस्थिति में खुद को सुरक्षित रखने की तैयारी मिलती रहे।
